Friday, December 5, 2014



जरा सा वक़्त क्या गुजरा  

लोगों  ने चेहरे बदल दिये

  

जीत कैसे मिली ? ये खबर है मुझे !
नज़र फिरी, और उसने मोहरे बदल दिये



खामखाँ  दोस्ती का दम भरता रहा वो  

यहां मौसमो ने रिश्ते गहरे बदल दिये   

Tuesday, November 4, 2014



तारे-सितारे, ग्रह महूरत
  
सब तो मिलते थे

फिर मुहब्बत जाने कहाँ खो गयी
   
छत्तीस के छत्तीसों गुन 
   
सब तो मिलते थे

फिर मुहब्बत जाने कहाँ खो गयी
  
मेला मज़ार मंदिर तीरथ  

सब तो मिलते थे

फिर मुहब्बत जाने कहाँ खो गयी


वो हमसफर था तो रास्ते में क्यों उतर गया ????
अभी तलक तो यहीं था, न जाने किधर गया
दिल एक अज़ब भूल भुलैय्यां बस्ती है सनम
इक बार जो निकला, कभी न लौट के घर गया

Saturday, October 11, 2014

बीवी को खबर हो गयी, गर्ल फ्रेंड ने रखा है व्रत करवा चौथ का
मुझे नहीं लगता देख पाऊंगा अब मैं व्रत अगले करवा चौथ का
सब भूल गया मैं ! कैसे फल-फूल, कैसी पूजा आरती,
तुम्हें क्या खबर वो नाराज़ होती, तो कहाँ कहाँ बेलन मारती
उसने ले ली है सुपारी मेरे नाम की, दिन तय हुआ है अगले करवा चौथ का
उसका वादा है पहले तोड़ेगी वो मेरी गंजी चांद, और तब खोलेगी व्रत करवाचौथ का
अब जीऊँगा या मरूँगा अभी क्या खबर
देखना है किसका ज्यादा मारकेश है व्रत करवा चौथ का
चार दिन भी न चल पायी मेरी चाँदनी
भूख मर गई है, मैंने अभी से रख लिया है व्रत करवा चौथ का      
  

Monday, September 8, 2014

प्लास्टिक के लोग





प्लास्टिक का मग

प्लास्टिक का टब

प्लास्टिक का टूथ ब्रश

प्लास्टिक के जार

पॉलिथिन के मिल्क पॉउच

प्लास्टिक के बॉउल

में सुबह-शाम भोजन कर  

प्लास्टिक की बॉटल से

दिन रात पानी पी पी कर

हमारी सहन शक्ति  

हमारा सब्र

पॉलिथिन सा पतला

और नाज़ुक हो गया 
तो 
और
हम खुद प्लास्टिक हो गये 
तो

आश्चर्य कैसा ?

हैरत कैसी ?

दोस्तो ! ताज़्ज़ुब कैसा ?




Monday, July 21, 2014

कल की बात



                             



अभी कल की बात है
कल की ही सी तो बात है
हम बड़ों की एक्टिंग करते थे
बड़े होने की जल्दी थी
छोटे नहीं रहना चाहते थे
छोटे थे तो भी बड़ा दिखना चाहते थे
बड़ों की तरह सिगरेट
बड़ों की तरह बीयर
बड़ों की तरह फिल्में…. किताबें  
वो सब किताबें जो मना थीं
वो सब फिल्में जो मना थीं
फिर देखते देखते हम बड़े हो गये
और बड़े हो गये
बड़े होते होते बुढ़ा गये
और ये क्या बड़े बूढ़े हो गये
और अब हर कदमहर दम..हर चंद
कोशिश
छोटे होने की
छोटे दिखने की